बिलासपुर। कैम्पा मद की राशि का दुरुपयोग एवं बंदरबांट का मामला लोकसभा में गूंजा। सांसद अरुण साव ने व्यापक जांच कराकर आवश्यक कार्यवाही करने की मांग किया। वन एवं पर्यावरण संरक्षण के लिए 2004 से स्थापित "क्षतिपूरक वनीकरण कोष प्रबंधन एवं योजना प्राधिकरण" (कैम्पा) के राशि का उपयोग वनीकरण एवं वन्य जीव संरक्षण के लिए ही किया जाना चाहिए। वन भूमि के बदले जारी की गई उक्त राशि का कुशल और पारदर्शी तरीके से शीघ्र उपयोग सुनिश्चित किया जाना चाहिए। परन्तु छत्तीसगढ़ में क्षतिपूरक वनीकरण कोष प्रबंधन एवं योजना प्राधिकरण अधिनियम" (कैम्पा एक्ट) के मंशा के विपरीत कैम्पा के मद की राशि का दुरुपयोग एवं बंदरबांट किया जा रहा है। सांसद अरुण साव ने लोकसभा में नियम 377 के अधीन अत्यंत महत्वपूर्ण लोक महत्व के विषय अंतर्गत उठाते हुए भारत सरकार के वन, पर्यावरण एवं जलवायु परिवर्तन मंत्री से आग्रह किया कि पिछले तीन वर्षों में राज्य में कैम्पा के अंतर्गत किए गए कार्यों की व्यापक रूप से जांच कराकर आवश्यक कार्यवाही करावें।