बिलासपुर । जल्दबाजी और हड़बड़ी में निकाले गए आदेश का क्या हश्र होता है यह डॉ प्रमोद महाजन को सीएमएचओ पद से हटाकर डॉ अनिल श्रीवास्तव को सीएमएचओ बनाने के आदेश से स्पष्ट हो गया क्योंकि डॉ प्रमोद महाजन को हाईकोर्ट में फौरी तौर पर राहत देते हुए उनके रिलीविंग आदेश पर रोक लगा दिया है इस तरह डॉक्टर अनिल श्रीवास्तव को सीएमएचओ बनाने का आदेश 48 घंटे के भीतर ही संदेहास्पद हो गया है वैसे भी तत्कालीन मुख्य सचिव विवेक डांड ने जुलाई 2014 मैं एक आदेश जारी कर कहा था कि विभागों में रिक्त वरिष्ठ पदों का चालू प्रभार संवर्ग के वरिष्ठ अधिकारियों को बिना किसी युक्तियुक्त प्रशासकीय कारण से बाईपास करते हुए कनिष्ठ अधिकारियों को नहीं सौंपा जाए।(नीचे पढ़ें पूरा आदेश)
छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट ने स्वास्थ्य विभाग के संयुक्त संचालक डॉ. प्रमोद महाजन को बड़ी राहत दी है। कोर्ट ने उनके सीएमएचओ पद से रिलीविंग आदेश पर रोक लगा दी है। साथ ही अब वे सीएमएचओ पद पर बने रहेंगे। राज्य शासन ने हाल ही में डॉ. प्रमोद महाजन से सीएमएचओ (CMHO) का प्रभार छीनकर डॉ. अनिल श्रीवास्तव को प्रभारी सीएमएचओ बनाया गया था। इस आदेश के बाद उनके पास जेडी का प्रभार यथावत बना रहा। राज्य शासन के आदेश पर डॉ. श्रीवास्तव ने एकतरफा प्रभार ग्रहण कर लिया था । इधर डॉ. महाजन छुट्टी पर चले गए। डॉ. महाजन ने शासन के इस आदेश को अपने वकील के जरिए हाईकोर्ट में चुनौती दी है। याचिका में कहा गया कि वह प्रथम श्रेणी ऑफिसर है। उनसे किसी भी पद के प्रभार से हटाने का अधिकार सामान्य प्रशासन विभाग को है, जबकि यह आदेश शासन के स्वास्थ विभाग से जारी किया गया है। इसमें स्वास्थ्य विभाग के अपर सचिव के हस्ताक्षर हैं, इसलिए यह आदेश अवैध है।
बुधवार को इस मामले की सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने डा प्रमोद महाजन को राहत दी है। हाईकोर्ट का आदेश मिलते ही डॉ. महाजन छुट्टी से लौट आए और उन्होंने अपने कार्यालय में ज्वाइनिंग दी। उस समय डॉ. श्रीवास्तव भी बैठे हुए थे। डॉ. महाजन को देखते ही डॉ. श्रीवास्तव सीएमएचओ दफ्तर से बाहर निकल गए। इसके बाद डॉ. महाजन ने प्रभार संभाल लिया ।
उल्लेखनीय है कि डॉ प्रमोद महाजन के CMHO पद से रिलीविंग पर हाईकोर्ट ने रोक लगा दी है। हाईकोर्ट का आदेश मिलते ही डॉ महाजन सीधे कार्यालय पहुंचे। डॉ श्रीवास्तव ने उन्हें देखते ही कुर्सी छोड़कर बाहर निकल गए। इसके बाद डॉ महाजन अपनी कुर्सी में बैठ गए।